कोई अपना सा मिलना है यहाँ दुश्वार सा दुनिया में
बड़ी मुश्किल से पाई है हमने प्यार दुनिया में ||
जिनके हो भरे थैली दबे तहजीब जूतों में
चमकते हैं सितारों से बड़े दमदार दुनिया में ||
सियासत कि है जो हाल फीका है वो दोजख भी
जिनके हाथों में लाठी हो वाही सरकार दुनिया में ||
गरीबों के हाथों में बंधी कानूने जंजीरें ,
बिना जमानत के गुमते हैं यंह गददार दुनिया में ||
तरक्की ने तबाही के घने मखमल बिछाये हैं ,
क़यामत पर जुल्म ढा दें ऐसे फनकार दुनिया में ||
घने जंगल में जाओ तो कोई दहशत नहीं “साथी”
मिलेंगे बस्ती में गुमते शिकारी खूंखार दुनिया में ||
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